श्रीराम के वानरी सेना से समाज को मिलता है संगठन में ताकत का सन्देश : कौशिक, बहेराडीह में आयोजित अखंड नवधा रामायण कार्यक्रम में शामिल हुए सांसद प्रतिनिधि

जांजगीर-चाम्पा. भगवान श्रीराम ने मर्यादा में रहकर नर लीला किया है। जिन्हें मर्यादा पुरषोत्तम भी माना गया है। दशरथ नंदन भगवान श्रीराम यदि चाहते, तो अकेले प्रतापी राजा रावण के राज्य लंका पहुंचकर जगत जननी माता जानकी को अपने साथ ले आते। मगर उन्होंने सीता के खोज और लंका में चढ़ाई के लिए वानरी सेना का मदद लेकर समाज को संगठन में होने वाली ताकत का सन्देश दिया हैं।उक्त बातें ग्राम बहेराडीह में आयोजित हिन्दू अखंड नवधा रामायण कार्यक्रम में शामिल होने पहुँचे सांसद प्रतिनिधि व पूर्व जिला पंचायत सदस्य, सभापति नरेन्द्र कुमार कौशिक ने ब्यक्त किया। उन्होंने आगे कहा कि रामायण से हमें सभ्य समाज की निर्माण, भाईचारा, एकता, अखंडता, आत्मविश्वास, धैर्य, धर्म अधर्म,नीति अनीति,का बोध कराता है।



इस मौके पर गाँव के उप सरपंच चंदा सरवन कश्यप, पूर्व सरपंच मुरीत राम यादव, पूर्व उपसरपंच जितेन्द्र कुमार यादव, दीनदयाल यादव, धनाराम यादव, रामभरोस यादव, शिशुपाल कश्यप, श्याम कंवर, सोमवार सिंह कंवर, छोटेलाल यादव, शासीराम यादव, आदि प्रमुख रूप से उपस्थित थे।

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