जांजगीर-चांपा. कलेेक्टर जेपी पाठक के मार्गनिर्देशन में कोविड-19 की रोकथाम के लिए लागू लाकडाउन से प्रभावित जिले के एवं अन्य राज्य/जिले के लोगो के लिए भोजन, राशन, आवास, दवाई आदि सभी आवश्यक सुविधाएं मुहैया की जा रही है। लोगों को घर से ना निकलना पड़े इसके लिए जिले के आम लोगो के लिए भी दवाईयों राशन आदि की घर पहुंच सुविधा बनाया गया है। नियंत्रण कक्ष से प्राप्त जानकारी के अनुसार, जिले में संचालित दस राहत शिविरों में 189 लोगों का ठहराया गया है। शिविर में रूके सभी लोगो का नियमित स्वास्थ्य परीक्षण करवाया जा रहा है। जरूरत के अनुसार दवाईंया भी उपलब्ध करवायी जा रही है।
इसी प्रकार अबतक 14 हजार 120 लोगों को सूखा राशन, हरि सब्जी, मसाला, तेल, नमक एवं अन्य जरूरत की सामाग्री भी दी गयी हैै। इसके अलावा 05 हजार 204 लोगों के लिए भोजन तैयार कर दिया गया। इनमें एक हजार 870 लोगों को गायत्री शक्तिपीठ सहित अन्य एनजीओ के माध्यम से तैयार भोजन दिया गया है।
मनरेगा – जिले के 46 हजार 423 ग्रामीणों को गांव में मनरेगा के माध्यम से काम उपलब्ध करवाया गया है। मनरेगा के तहत इस योजना के तहत 347 ग्राम पंचायतों में कुल 1155 कार्य प्रारंभ है। श्रमिको को अबतक 323.48 लाख रूपए का मजदूरी भुगतान हुआ है।
राहत शिविर – जिले में संचालित दस राहत शिविरों भोजन, शुद्व पेयजल, लाईट आदि की व्यवस्था की गयी है। कुछ शिविर में मनोरंजने के लिए टीव्ही की व्यवस्था की गयी है। इन राहत शिविर में अन्य राज्य व जिले के लोगो को ठहराया गया है। इसके अलावा यहंा रेल्वे स्टेशन पर भिक्षावृत्ति करने वालो को भी पनाह दी यगी है। सभी का स्वास्थ्य परीक्षण किया गया है।
राशन वितरण – अन्य राज्य/जिले अथवा स्थानीय जरूरतमंद 14 हजार 120 लोगो को सूखा राशन, मसाल, तेल, हरी सब्जी आदी जरूरत के अनुसार उपलब्ध करवायी गयी है। इसके अवाला राज्य शासन की योजना के तहत 4 लाख 70 हजार 976 बीपीएल कार्डधारी परिवारों को दो माह का चावल, नमक निःशुल्क वितरण किया गया है। इसके अलावा 17 रूपए प्रति किलो की दर से शक्कर भी पात्रता अनुसार वितरित की जा रही है।
भोजन वितरण – लाकडाउन के कारण जिले में फसें ऐसे पांच हजार 204 लोग जिनके पास भोजन बनाने की सुविधा नहीं है। उनको भोजन तैयार कर दिया गया। इसके प्रसाशन के साथ स्वयं सेवी संगठनों ने भी सहयोग के लिए आगे आए।
कारखानों और संस्थाओ ंमें संचालको द्वारा की गयी व्यवस्था अन्य राज्यो व जिले के कर्मचारी जो कारखानो व संस्थाओं में काम के चलते पहुचें हुए 1066 ट्रक ड्राइवर, क्लीनर, मजदूर, एजेंट एवं अन्य कर्मियों को भी संबधित संस्थानों के संचालको ने आवास एवं भोजन की व्यवस्था की है।