रायपुर. देशव्यापी लाॅकडाउन के दौरान इंदौर में फंसे 7 मूक-बधिर दिव्यांगजन छत्तीसगढ़ सरकार की मदद से अपने घर पहुंच गए हैं। छत्तीसगढ़ के बिलासपुर, राजनांदगांव, भाटापारा और कोरबा जिले के दिव्यांगजन इंदौर में नौकरी करने गए थे। इनकी जानकारी मिलने पर समाज कल्याण मंत्री श्रीमती अनिला भेंड़िया ने दिव्यांगजन की सुरक्षित वापसी के निर्देश दिए। समाज कल्याण विभाग के सचिव और राज्य आयुक्त दिव्यांगजन, प्रसन्ना आर. ने दिव्यांगजन की कोविड-19 के तहत जारी प्रोटोकाल का पालन करते हुए दिव्यांगजन के लिए पास तैयार करवाकर निःशुल्क निजी वाहन से सुरक्षित वापसी की व्यवस्था करवाई। दिव्यांगजन ने छत्तीसगढ़ वापसी के लिए मुख्यमंत्री भूपेश बघेल और छत्तीसगढ़ शासन को धन्यवाद दिया है।
छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा रास्ते में दिव्यांजन के भोजन और अन्य सुविधाओं का ध्यान रखते हुए सुरक्षित वापसी का सुनिश्चित प्रबंध भी किया गया। संचालक पी.दयानंद ने विभागीय जिलाधिकारियों और संबंधित जिला प्रशासन से समन्वय किया। विभागीय जिलाधिकारियों की मदद से दिव्यांगजन की 21 मई को उनके गृह जिले में जिला प्रशासन द्वारा चिन्हित स्थानों तक वापसी संभव हो सकी। इंदौर से बिलासपुर जिले के मूक-बधिर आशीष विश्वास, भिलाई के संतोष,राजनांदगांव के हितेश देवांगन, योगीलाल साहू, भाटापारा के टीकाराम और कोरबा के सरवर आलम और सुश्री सदूफ जौफिशन छत्तीसगढ़ वापस लौटकर बहुत खुश हैं.
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