भारत के राष्ट्रपति का चुनाव चुने हुए सांसदों व विधायकों के निर्वाचक मंडल के ज़रिए होता है। निर्वाचकगण सीक्रेट बैलेट पेपर में उम्मीदवारों के नाम के सामने वरीयता चिन्हित कर उनका चयन करते हैं। सभी सांसदों के मतों की वैल्यू एक समान जबकि विधायकों के मतों की वैल्यू उनके राज्य/केंद्र शासित प्रदेश की आबादी के अनुसार अलग-अलग होती है।