दौसा. राजस्थान के दौसा जिले में एक अनोखे बच्चे के जन्म ने लोगों के होश ही उड़ा दिए। जिसे देखने एकाएक लोगों की भारी भीड़ उमड़ गई। हालांकि बच्चा ज्यादा देर तक जिंदा नहीं रहा। जन्म के कुछ घंटों बाद सेहत में आए बदलाव के चलते 12 घंटे बाद ही सांस थम गई। इस मामले में डॉक्टर ने कहा कि ऐसे मामलों में जिंदा रहने की उम्मीद बहुत कम होती है।
बच्चे के आठ पैर, दो मुंह और चार आंखें थी!
यह घटना सिकराय इलाके के गीजगढ़ की नाथ वाली ढाणी की है। जहां एक भैंस आठ पैर, दो मुंह और चार आंखें वाले अनोखे बच्चे को जन्म दिया। 16 अक्टूबर की यह घटना है। उसी दिन यह खबर पूरे इलाके में आग की तरह फैल गई। जिसके बाद देखने के लिए लोगों की भारी भीड़ उमड़ पड़ी। पशुपालन विभाग के नोडल अधिकारी डॉ. हीरालाल बैरवा ने बताया कि पशुओं में इस प्रकार के भ्रूण के जन्म की प्रक्रिया को ‘डिस्टोकिया’ कहा जाता है।
यह डिस्टोकिया बहुत क्रिटिकल था लेकिन डॉक्टर ने तत्परता दिखाते हुए पूरी सजगता के साथ सिर्फ 10 मिनट भैंस के गर्भ से 2 भ्रूण निकाले। राहत की बात यह रही कि दोनों भ्रूण जिंदा बाहर निकले। गीजगढ़ क्षेत्र में संभवतया यह पहला मामला है। जबकि ऐसे ही और भी मामले सामने आ चुके हैं।
सिर्फ 12 घंटे तक रहा जीवित
डॉक्टरों की माने तो ऐसे मामालों में चाहे भैस का बच्चा या फिर महिला के गर्भ से जन्म लिया बच्चा। बचने की उम्मीद 95 प्रतिशत कम रहती है। बता दें कि राजस्थान में कुछ महीने पहले भी करौली में ऐसा ही मामला सामने आया था। एक भैंस ने अजीब बच्चे को जन्म दिया था। भैंस के उस बच्चे के भी दो मुंह, 4 आंख और 4 सींग थे। वहीं अब दौसा में यह मामला सामने आया।