जांजगीर-चाम्पा. ग्रामीण स्वरोजगार प्रशिक्षण संस्थान यानी आरसेटी में महिलाओं को स्वरोजगार से जोड़कर आत्मनिर्भर बनाने निःशुल्क 30 दिवसीय ‘महिला सिलाई प्रशिक्षण’ दिया जा रहा है और 35 महिलाएं एवं युवतियां यह प्रशिक्षण ले रही हैं. प्रशिक्षण के माध्यम से उन्हें आत्मनिर्भर बनाने की कोशिश की जा रही है. संस्था का उद्देश्य ग्रामीण क्षेत्र की महिलाओं एवं युवतियों को सिलाई मशीन प्रशिक्षण कौशल प्रदान कर उन्हें आर्थिक सशक्तिकरण दिशा में आगे बढ़ाना है. इस दौरान इन्हें मशीन की रिपेयरिंग के बारे में भी बताया जा रहा है, जिसे मशीन में खराबी आने पर वे आसानी से सुधारा जा सके.
प्रशिक्षार्थी ने कहा कि पहले उन्हें मशीन और सिलाई के बारे में कुछ भी नहीं आता था. यहां छोटी-छोटी बारीकी के बारे में सिखाया जा रहा है. हम ग्रामीण क्षेत्र की महिलाएं घर से नहीं निकल पाती और अपने खर्चों के लिए दूसरे पर निर्भर रहना पड़ता है. यहां से प्रशिक्षण प्राप्त कर खुद के लिए स्वरोजगार स्थापित कर सकती है और महीने में 10 से 15 हजार की अच्छी आमदनी हो सकती है.
इस दौरान ट्रेनर हेमबाई चंद्रा ने बताया कि प्रशिक्षण के दौरान प्रशिक्षार्थियों को मेजरमेंट, नाप, कटिंग पूरे 30 दिनों तक प्रशिक्षण दिया जा रहा है, क्योंकि गांव की महिलाएं घर से बाहर नहीं निकल पाती या जो गरीब वर्ग की महिलाएं हैं, वे इस सिलाई मशीन प्रशिक्षण से खुद का स्वरोजगार स्थापित कर बेरोजगारी दूर कर सकती हैं. इस तरह दूसरे पर उन्हें निर्भर रहने की जरूरत नहीं पड़ेगी.
आरसेटी के डायरेक्टर लक्ष्मीनारायण सिंकू ने कहा कि सभी ग्रामीण क्षेत्र की महिलाएं और युवतियां, ट्रेनिंग के पश्चात इन्हें कम लागत में अच्छी आमदनी हो सकती है, क्योंकि घर में वे सिलाई कर सकती है.