मैले कुचैले कपड़े पहने यात्रियों का महंगा ब्रीफकेस देख GRP को हुआ शक, खुलते ही फटी रह गयीं आंखें

रेलवे स्‍टेशन पर मैले कुचैले कपड़े पहने दो यात्री जा रहे थे, लेकिन उनके पास महंगा ब्रीफकेस था, जिसे देखकर जीआरपी को शक हुआ. दोनों को रोकना चाहा, तो वे अनसुना कर आगे बढ़ते जा रहे थे. इस पर जीआरपी का शक और गहरा गया. भागकर जीआरपी ने दोनों को हिरासत में लेकर पूछताछ की. वे गोलमोल जवाब दे रहे थे. इस दौरान उनसे ब्रीफकेस खोलने के लिए कहा गया. पहले चाबी खोने का बहाना बनाकर खोलते से बचते रहे. लेकिन जीआरपी द्वारा सख्‍ती बरतते ब्रीफकेस खोला. खुलते ही जीआरपी कर्मियों की आंखें फटी रह गयीं. कानूनी कार्रवाई करते हुए दोनों को जेल भेज दिया गया.



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पुलिस अधीक्षक रेलवे लखनऊ प्रशान्त वर्मा के अनुसार सुरक्षा व्यवस्था के मद्देनजर ट्रेनों व रेलवे स्टेशनों पर आपराधिकत घटनाओं की रोकथाम के लिए अभियान चलाया जा रहा था. इसके तहत जीआरपी चारबाग एवं सर्विलांस सेल की संयुक्त टीम ने प्लेटफार्म सं.-6/7 का अन्तिम छोर बाराबंकी साइड शौचालय के पीछे चारबाग से दो चोरों को गिरफ्तार किया. इनके पास से अलग-अलग कंपनियों के 42 मोबाइल फोन बरामद किए गए. पकड़े गए चोरों के नाम अशोक नोनिया और विजय है, दोनों पश्चिम बंगाल के वर्धमान जिले के रहने वाले हैं.

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पूछताछ में उन्‍होंने बताया कि ट्रेनों और स्‍टेशनों पर सोते हुए यात्रियों को निशाना को बनाते थे. इसके लिए कई बार शिकार के आसपास सो भी जाते थे और मौका मिलते ही हाथ साफ कर देते थे. चोरी करने के लिए लखनऊ, कानपुर और गोरखपुर तक ट्रेनों में सफर करते थे. उन्‍होंने बताया कि चोरी के मोबाइल वो अपने गांव लेकर जाते थे और वहां पर सस्‍ते दामों में बेचते थे. लोग बाजार से कम कीमत होने की वजह से तुरंत खरीद लेते थे.

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