स्वर कोकिला लता मंगेशकर की वो अनदेखी तस्वीरें, जो बेशकीमती होने के साथ ही हम सभी के लिए यादगार भी है

हर इंसान के जीवन में संगीत का एक अलग ही महत्व होता है लेकिन उस संगीत को सभी के दिलों तक पहुंचाने का काम एक बेहतरीन संगीतकार करता है आज इंडस्ट्री में एक से बढ़कर एक संगीतकार मौजूद है लेकिन बहुत से संगीतकार ऐसे हैं जिनका तोड़ दुनिया भर में भी कोई नहीं निकाल पाया है। इनमें ही नाम आता है स्वर कोकिला लता मंगेशकर का जिनकी आवाज का आज देश ही नहीं पूरी दुनिया दीवानी है।



92 साल की हो चुकी लता मंगेशकर आज किसकी पहचान की मोहताज नहीं है वह अब तक के करियर में हजारों की संख्या में गाने गा चुकी है जो सदाबहार है जो हर किसी की जुबां पर बने हुए रहते हैं और यही कारण है जो उन्हें संगीत की दुनिया में स्वर कोकिला बनाता है आज उनकी आवाज का कोई तोड़ नहीं है।

लता मंगेशकर के कंठ से निकलने वाली आवाज सीधे लोगों के दिलों को छूती है। जो उन्हें संगीत की दुनिया में बेताज बादशाह बनाता है। आज दौलत और शोहरत दोनों से परिपूर्ण लता मंगेशकर की पहली कमाई के बारे में हम आपको बताने जा रहे हैं। बहुत कम लोग इस बात को जानते हैं कि स्वर कोकिला को अपनी पहली कमाई के तौर पर केवल ₹25 मिले थे।

इसे भी पढ़े -  Malkharouda News : छपोरा गांव में निःशुल्क जांच शिविर एवं रक्तदान शिविर आयोजित, लोगों ने 35 यूनिट किया रक्तदान, जिला पंचायत सदस्य, जनपद पंचायत उपाध्यक्ष, सरपंच सहित बड़ी संख्या लोग रहे मौजूद

दीनानाथ मंगेशकर की बेटी
लता जी को संगीत विरासत में मिला है उनके पिता दीनानाथ मंगेशकर एक जाने-माने संगीतकार थे। इतना ही नहीं वह कलाकार भी थे उनसे ही उन्हें संगीत की प्रेरणा मिली। इस बात को भी बहुत कम लोग जानते हैं कि स्वर कोकिला का नाम जन्म हेमा था। लेकिन बाद में इसे बदलकर लता किया गया। लता जी का जन्म 1929 में हुआ।

उनके अलावा उनके 5 भाई बहन भी है। उन्होंने बहुत छोटी उम्र याने 5 साल में ही रंगमंच की दुनिया में अपने कदम रख दिए थे। अपनी बेटी को इतनी बड़ी शिक्षा देने वाले पिता का जब वह 13 साल की थी उस समय निधन हो गया था। पिता के निधन के बाद उन्होंने अपने भाई बहनों के लिए पिता का फर्ज निभाया जिसके लिए उन्होंने कभी भी शादी नहीं की सभी का ध्यान उन्होंने ही रखा।एक इंटरव्यू के दौरान स्वर कोकिला ने इस बात की जानकारी सभी के साथ में साझा की थी कि संगीत की दुनिया में बड़ा कदम रखने के बाद उन्हें पहली सैलरी के रूप में केवल ₹25 मिले थे। जो उस समय काफी बड़ी रकम हुआ करती थी।

इसे भी पढ़े -  Dabhara News : शराब की अवैध बिक्री के खिलाफ मोर्चा खोला गया, बेचने वालों को दी गई चेतावनी, नगर पंचायत अध्यक्ष दीपक कंवलधर साहू और उपाध्यक्ष नीलाम्बर सिंह जगत समेत अन्य लोग रहे मौजूद

दादा साहब फाल्के पुरस्कार
संगीत की दुनिया में अपना बेहतरीन योगदान के चलते स्वर कोकिला लता मंगेशकर को कई बड़े सम्मान से भी नवाजा गया है। बता दें कि उन्हें साल 1989 में मनोरंजन दुनिया का सबसे बड़ा सम्मान दादा साहब फाल्के पुरस्कार से नवाजा गया था।

इसके साथ ही उन्हें भारत रत्न से भी नवाजा जा चुका है। उन्हें यह सम्मान साल 2001 में दिया गया था। इसके अलावा उन्हें फिल्मफेयर, बेस्ट फीमेल सिंगर जैसे कई बड़े अवार्ड मिल चुके हैं। इतना ही नहीं उन्होंने एक बार इंटरव्यू में यह भी बताया था कि वे केवल 2 दिन ही स्कूल गई है।पिता के गुजर जाने के बाद भाई बहनों की जिम्मेदारी उनके ऊपर आ गई जिसकी वजह से वे स्कूल नहीं जा पाई। लेकिन इसके बाद भी आज करोड़ों दिल पर वे अपनी सुरीली आवाज से राज करती है।

इसे भी पढ़े -  Malkharouda News : सद्भावना भवन में दिव्यांगजनों का शत-प्रतिशत प्रमाणीकरण तथा UDID कार्ड पंजीयन शिविर कार्यक्रम में जिला पंचायत सदस्य रमौतीन बंजारे, मालखरौदा जनपद पंचायत अध्यक्ष कवि वर्मा रहे मौजूद, बड़ी संख्या में दिव्यांगजनों ने शिविर का उठाया लाभ

error: Content is protected !!