दो गोल्ड समेत 5 मेडल जीतने वाले 20 साल के बॉक्सर की हेरोइन के ओवरडोज से मौत, परिजन को इस बात का संदेह

2018 जूनियर नेशनल के रजत पदक विजेता और 2018 खेलो इंडिया यूथ गेम्स के कांस्य पदक विजेता पंजाब के मुक्केबाज 20 साल के कुलदीप सिंह की बुधवार 27 जुलाई 2022 की शाम पंजाब के बठिंडा जिले के तलवंडी साबो में कथित तौर पर ड्रग ओवरडोज से मौत हो गई।



कुलदीप सिंह शहर की रामा रोड पर बेहोश पाए गए थे। जब उन्हें स्थानीय अस्पताल ले जाया गया तो डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया।

बॉक्सर के परिजन का आरोप है कि बुधवार दोपहर गांव के कुछ युवक कुलदीप सिंह को जबरन अपने साथ ले गए। बाद में उन्हें स्थानीय लोगों से कुलदीप के सड़क पर बेहोश पड़े होने की सूचना मिली थी।

कुलदीप के बड़े भाई मेला सिंह ने बताया, ‘हमारा मुक्केबाज बेटा हमें छोड़ कर चला गया है। उसे अगले महीने एक प्रतियोगिता में हिस्सा लेना था।’

उन्होंने बताया, ‘कॉलेज खत्म होने के बाद कुछ स्थानीय युवक उसे जबरदस्ती अपने साथ ले गए थे। हमें बाद में सूचित किया गया कि वह बेहोश मिला था। बाद में, जब हम अस्पताल पहुंचे, तो डॉक्टरों ने हमें बताया कि उसकी ड्रग ओवरडोज के कारण मौत हुई है।

उसे स्थानीय युवाओं ने इंजेक्शन दिए थे। हमें उम्मीद है कि पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट से चीजें साफ हो जाएंगी।’ मेला सिंह तलवंडी कस्बे में ही एक सैलून चलाते हैं।

सहायक पुलिस उप-निरीक्षक (एएसआई) धर्मवीर सिंह ने ‘द इंडियन एक्सप्रेस’ को बताया, ‘हमने 6 युवकों के खिलाफ आईपीसी की धारा 304 और 135 के तहत प्राथमिकी (FIR) दर्ज की है। कथित तौर पर इन्हीं युवकों ने कुलदीप सिंह को ड्रग्स लेने के लिए मजबूर किया था।’ कुलदीप चार भाई-बहनों में तीसरे नंबर पर थे। वह राष्ट्रीय स्तर पर 5 पदक जीत चुके थे। इसमें दो स्वर्ण पदक थे।

कुलदीप सिंह 8 साल की उम्र में बाबा अजीत सिंह बॉक्सिंग वेलफेयर क्लब, तलवंडी साबो में कोच हरदीप सिंह की निगरानी में बॉक्सिंग शुरू की थी। उन्होंने पहली बार 2017 में देहरादून में स्कूली नेशनल्स में खिताब जीता था। यही नहीं, उन्होंने अगले साल गुवाहाटी में इस उपलब्धि को दोहराया था।

कुलदीप ने उसी साल मोहाली में बीएफआई जूनियर नेशनल बॉक्सिंग चैंपियनशिप (BFI Junior National Boxing Championship) में रजत पदक जीता। इसके अलावा नई दिल्ली में खेलो इंडिया गेम्स में कांस्य पदक जीता। उनकी इस उपलब्धि के बाद उन्हें पंजाब इंस्टीट्यूट ऑफ स्पोर्ट्स (पीआईएस) मोहाली में प्रशिक्षण के लिए चुना गया था।

कुलदीप के कोच हरदीप सिंह ने बताया, ‘उसने स्थानीय युवाओं को बॉक्सिंग करते देख खेलना शुरू किया था। वह अपने पिता के साथ ट्रेनिंग के लिए आता था। उसने कभी भी कोई ट्रेनिंग सेशन मिस नहीं किया। जब उसने जूनियर नेशनल में रजत पदक जीता और पीआईएस में उसका चयन हुआ तो मैं बहुत खुश था।

’ परिजन की तरह कोच हरदीप सिंह ने भी गांव के असामाजिक तत्वों पर कुलदीप को जबरदस्ती ड्रगदेने का आरोप लगाया।मामले की जांच कर रहे एएसआई धर्मवीर सिंह ने कहा, ‘कुलदीप सिंह को ढाई महीने पहले एक स्थानीय अस्पताल में भर्ती कराया गया था और ड्रग्स के इलाज के बाद डिस्चार्ज कर दिया गया था।

वह कुछ युवाओं के साथ शहर के पास रामा रोड पर गया। हमें स्थानीय लोगों का फोन आया कि एक शव मिला है। हम उसे अस्पताल ले गए। डॉक्टरों ने रात 8.10 बजे उसे मृत घोषित कर दिया। पोस्टमॉर्टम आज किया गया और रिपोर्ट बाद में आएगी।’

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