जांजगीर-चाम्पा. ब्रिलियंट पब्लिक स्कूल, बनारी जांजगीर के विद्यालय प्रांगण में छत्तीसगढ़ राज्य स्थापना दिवस मनाया गया। कार्यक्रम के प्रारंभ में छत्तीसगढ़ महतारी के तैल्यचित्र पर दीप प्रज्जवलन व माल्यार्पण विद्यालय के संचालक आलोक अग्रवाल, परीक्षा प्रभारी सागर विश्वकर्मा व प्रधान अध्यापिका भिष्मिता साहू के द्वारा किया गया.
तत्पश्चात प्री-प्रायमरी के नन्हे-मुन्हे बच्चोें के द्वारा कविता, कक्षा 9 वीं की छात्रा सौम्या तिवारी कक्षा दसवीं की छात्रा वाणीप्रिया तिवारी के द्वारा देशभक्ति गीत, कक्षा छठवीं के छात्र केशव अग्रवाल, कक्षा नवमीं त्रिशिका बजाज द्वारा हिंदी भाषण, और कक्षा दसवीं की छात्रा भूमि मोदी द्वारा अंग्रेजी भाषण, व छात्राओं द्वारा सामूहिक नृत्य प्रस्तुत किया गया।
विद्यालय के शिक्षिका नीलम सिंह और विजयलता राठौर तथा शिक्षक प्रकाश पाण्डेय के द्वारा छत्तीसगढ़ स्थापना दिवस की बधाई छत्तीसगढ़ी भाषा में प्रदान की गयी और उन्होंने बताया कि छत्तीसगढ़ राज्य की स्थापना 1 नवंबर 2000 में हुआ था, साथ ही 1 नवंबर 2000 को मध्य प्रदेश पुनर्गठन अधिनियम, 2000 के अंतर्गत छत्तीसगढ़ उच्च न्यायालय की मान्यता मिली थी। बिलासपुर उच्च न्यायालय देश का 19 वां उच्च न्यायालय है। छत्तीसगढ़ राज्य का पौराणिक नाम कौशल राज्य था जो की भगवान श्री राम का ननीहाल है, लगभग तीन सौ साल पहले गोड़ जनजाति के शासन काल के दौरान राज्य का नाम छत्तीसगढ़ पड़ा।
छत्तीसगढ़ राज्य मध्य भारत में घने जंगलों वाला राज्य है जो अपने मंदिरों, झरनों, कारखानों, विभिन्न त्योहार, नृत्य, गीत, संस्कृति, खान-पान, और रहन-सहन के लिए प्रसिद्ध है। छत्तीसगढ़ का निर्माण मध्य प्रदेश राज्य का विभाजन कर किया गया था तब छत्तीसगढ़ राज्य भारत का धान का कटोरा के रूप में जाना जाता है। छत्तीसगढ़ राज्य बनने के बाद नए नेतृत्व उभरने से विकास की राह बनी, 1 नवंबर 2000 को जन्मा यह राज्य अब 22 वर्ष का हो चुका है, और आज देश के बड़े धान व बिजली उत्पादक के रूप में अपनी पहचान बना रहा है।
कार्यक्रम के समापन में सभी छात्र-छात्राओं के द्वारा छत्तीसगढ़ी सामुहिक नृत्य (हमर पारा तुंहर पारा) की प्रस्तुति दी गयी। यह कार्यक्रम़ विद्यालय के संचालक आलोक अग्रवाल व प्राचार्य श्रीमती सोनाली सिंह के सानिध्य मे किया गया मंच संचालन प्रियंका शर्मा के द्वारा किया गया. इस कार्यक्रम में समस्त शिक्षक-शिक्षिकाएँ व अन्य स्टॉफ का योगदान सराहनीय रहा।