Chanakya Niti इन परिस्थितियों में बुद्धिमान व्यक्ति को भी उठानी पड़ती है कठिन पीड़ा

आचार्य चाणक्य को भारत के महान ज्ञानियों और विद्वानों में से एक माना गया है जिनकी नीतियां दुनियाभर में प्रसिद्ध है जिसे चाणक्य नीति के नाम से जाना जाता है चाणक्य ने मानव जीवन से जुड़ी सभी पहलुओं पर अपनी नीतियों का निर्माण किया है जिसका अनुसरण करने वाला मनुष्य सफलता के शिखर को प्राप्त करता है चाणक्य ने अपनी नीतियों में बताया है कि किन परिस्थितियों में बुद्धिमान मनुष्य को भी कष्ट भोगना पड़ता है तो आगे हम इसी के बारे में बता रहे हैं तो आइए जानते हैं।



 

 

 

चाणक्य नीति अनुसार एक बुद्धिमान मनुष्य को हमेशा शक्तिशाली शत्रु और कमजोर मित्र से सतर्क रहना चाहिए। क्योंकि ये दोनों हमेशा दुख देते हैं इसके साथ ही चाणक्य कहते हैं कि सुख और सफल रहने के लिए व्यक्ति को हमेशा ही सच बोलना चाहिए और सोच समझ कर खर्च भी करना चाहिए।

इसे भी पढ़े -  Sakti News : बन्धन बैंक सक्ती शाखा ने नगर पालिका अध्यक्ष श्याम सुंदर अग्रवाल के मुख्य आतिथ्य में मनाया 10वां स्थापना दिवस

 

 

पढ़ें आज की चाणक्य नीति-
चाणक्य की मानें तो जिस स्थान पर आपका आदर न हो या फिर जहां कमाई और ज्ञान का कोई साधन न हो, ऐसे स्थान को तुरंत त्याग देना ही बेहतर होता है। क्योंकि ऐसे स्थान पर अधिक समय तक रहने से भी कोई लाभ नहीं होगा। जहां कोई मित्र और रिश्तेदार न हो। ऐसे स्थान को भी छोड़ देने में ही भलाई होती है।

इसे भी पढ़े -  Dabhara News : 2 सितंबर को निःशुल्क नेत्र रोग एवं मोतियाबिंद जांच एवं निदान शिविर आयोजित, जिला पंचायत उपाध्यक्ष कमल किशोर पटेल द्वारा कराया जा रहा आयोजन

 

 

 

 

चाणक्य ने सफलता हासिल करने के लिए दो सूत्र बताएं है। चाणक्य की मानें तो जिस तरह दो पंखों की सहायता से कोई भी पक्षी आकाश में उड़ जाता है ठीक उसी तरह कर्म और ज्ञान रूपी दो पंखों के आधार पर मनुष्य भी सफलता के आकाश में उड़ सकता है ऐसे में इन्हें जीवन में जरूर शामिल करें।

error: Content is protected !!