Janjgir News : ज्ञानोदय कॉलेज ऑफ एजुकेशन जांजगीर में कचरे से कला निर्माण का आयोजन किया गया

जांजगीर-चाम्पा. ज्ञानोदय कॉलेज ऑफ एजुकेशन जांजगीर में सहायक प्राध्यापिका डॉ. हेमा तिवारी, श्रीमती चंचला मिश्रा, श्रीमती तरुणा यादव और अमित कुमार उपाध्याय के मार्गदर्शन में कचरे से कला निर्माण का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम के मुख्य अतिथि के रूप में ज्ञानोदय कॉलेज ऑफ एजुकेशन के संचालक डॉ. सुरेश यादव उपस्थित रहे।
कार्यक्रम में बी.एड. प्रतिक्षार्थियो को संचालक महोदय डॉ. सुरेश यादव के द्वारा बताया गया कि आधुनिक कला 1970 के दशक से विस्तारित अवधि के दौरान किए जाने वाले कलात्मक कार्यो का संदर्भ देता है और उस युग की शैली और दर्शन को दर्शाता है और कल्पनात्मकता कि ओर झुकाव आधुनिक कला की विशेषता को बताया हैं।



सहायक प्राध्यापिका डॉ. हेमा तिवारी ने कहा कि कला एक मानवीय चेष्टा हैं।जिसमे एक मनुष्य अपनी उन भावनाओ को जिनका उसने जीवन मे साक्षात्कार किया हो ,उसको कला के द्वारा दर्शा सकता है।
सहायक प्राध्यापिका चंचला मिश्रा द्वारा बताया गया कि यह मैंटिस के परिलक्षित कला के साथ प्रारंभिक आकर्षण को दर्शाता है जो महज कोई काम का नही होता उसे कला के माध्यम से सुंदर आकार दिया जाता हैं।

सहायक प्राध्यापिका तरुणा यादव ने अपने उद्बोधन में कहा कि आधुनिक कला कलाकारों ने देखने के नए तरीकों और सामग्रियों और कला के कार्यो की प्रवृति पर नए विचार डाल दिये जो प्रकृति को सुंदर रख सके।
सहायक प्राध्यापक श्रीमान अमित कुमार उपाध्याय द्वारा बताया गया कि आधुनिक कला की शुरुआत विन्सेन्ट गॉग द्वारा किया गया 20 वी सदी की शुरुआत में सभी कलाकारों ने जिवंत, बहु रंगी, भाववाहक, कला द्वारा पुरानी चीजो को नए आकार दिये हैं।

ततपश्चात कार्यक्रम को आगे बढ़ाते हुए बी.एड. प्रशिक्षार्थियों द्वारा कचरा से कला निर्माण किया गया।
अंत में निर्णायक समूह द्वारा कलाकारी को देख कर निर्णय लिया गया जिसमें बी.एड. प्रथम वर्ष से प्रथम स्थान श्वेता सिदार द्वितीय स्थान सभ्यता साहू और तृतीय स्थान वीरेंद्र, प्रतिमा, यशोदा और बी. एड. द्वितीय वर्ष से प्रथम स्थान त्रिदेव सिदार,परशुराम, योगेश,शेषधर द्वितीय स्थान दीप्ति,ज्योति,सुनीता,ममता और तृतीय स्थान भावना पटेल,अंजलि रहे।

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